यूपी में बारिश-बाढ़ का कहर, मंत्री मौके पर

यूपी में बारिश से भारी तबाही, कई जनपदों में आई बाढ़, मकान डूबे, मंत्री और अफसर ग्राउंड जीरो पर

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Prime News Network

Last Updated: August 03 2025 05:09:21 PM

यूपी में भारी बारिश ने तबाही मचाई है। कई जिलों में बाढ़ से हालात बिगड़े, मकान जलमग्न हो गए। राहत व बचाव कार्य जारी है, मंत्री और अफसर स्थिति का जायजा लेने ग्राउंड जीरो पर पहुंचे

यूपी में बारिश से भारी तबाही कई जनपदों में आई बाढ़ मकान डूबे मंत्री और अफसर ग्राउंड जीरो पर 

 यूपी में बारिश से भारी तबाही, कई जनपदों में आई बाढ़, मकान डूबे, मंत्री और अफसर ग्राउंड जीरो पर 

30 जनपदों के लिए मौसम विभाग ने जारी किया रेड अलर्ट 

बेघर हुए लोगों को शरणालयों में पहुंचाया गया, भोजन-दवाओं और पशुओं के लिए चारे का किया गया इंतजाम 

यूपी में मानसून बीते कई दिनों से कहर बरपा रहा है. रविवार को भी मौसम विभाग ने यूपी के 30 जिलों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है. 14 जिले बाढ़ की चपेट में हैं. इससे लाखों लोग का जनजीवन प्रभावित हुआ है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बाढ़ प्रभावित जिलों में राहत और बचाव कार्य के आदेश दिए हैं. अधिकारियों की टीम ग्राउंड जीरो पर उतार दी गई है. अधिकारियों के साथ ही मंत्रियों के भी दौरे तय कर दिए गए हैं. नदियों में बचाव और राहत कार्य के लिए नावों और मोटर बोट तैनात हैं. बाढ़ चौकियों को पूरी तरह से सक्रिय कर दिया गया है. बाढ़ में फंसे लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाया जा रहा है. प्रभावित परिवारों के रुकने और खाने की व्यवस्था भी की जा रही है. स्थानीय प्रशासन के साथ ही एसडीआरएफ, एनडीआरएफ और पीएसी की टीमों जुटी हैं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हर घंटे बाद और राहत कार्यों का अपडेट ले रहे हैं.

बीते कई दिनों से उत्तर प्रदेश में भारी बारिश के चलते गंगा, यमुना, शारदा, राप्ती, गोमती और रामगंगा नदियां खतरे के निशान के करीब बह रही हैं. इन नदियों के आसपास बसे जिले जैसे बहराइच, बलरामपुर, गोंडा, श्रावस्ती, लखीमपुर खीरी, बाराबंकी, सीतापुर में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं. निचले इलाकों में भीषण जल भराव है जिससे सड़कों पर आवागमन बाधित हो गया है. अंडरपास बंद होने की भी आशंका है. पटरियां डूबने से ट्रेनों का आवागमन भी प्रभावित हुआ है.

प्रयागराज, जालौन, औरैया, हमीरपुर, आगरा, मिर्जापुर, वाराणसी, कानपुर देहात, बलिया, बांदा, इटावा, फतेहपुर, कानपुर नगर और चित्रकूट में बाढ़ से हाहाकार मचा हुआ है. इन जिलों में कई जगह सड़कें और पुल क्षतिग्रस्त हो गए हैं जिससे आवागमन ठप हो गया है. कई घर डूब गए हैं तो कई घरों में पानी घुस गया है. ऐसे में लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शरण लेनी पड़ रही है. किसानों की फसलें जलमग्न हो गई हैं जिससे उन्हें भारी नुकसान हुआ है. 

पूर्वी उत्तर प्रदेश में सोनभद्र, चंदौली, वाराणसी, मऊ, जौनपुर, गोरखपुर, भदोही, गाजीपुर, आजमगढ़, देवरिया जिले तो पश्चिमी उत्तर प्रदेश में मुरादाबाद, संभल, लखीमपुर खीरी, सहारनपुर, मेरठ, नजीबाबाद, हाथरस, कासगंज और मध्य प्रदेश में लखनऊ, सीतापुर, हरदोई, बाराबंकी, कानपुर के लिए विशेष अलर्ट जारी किया गया है. इन जिलों में भारी बारिश के साथ बिजली गिरने और तेज हवाओं का खतरा है.

हालात पर काबू पाने के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने टीम 11 गठित कर दी है यह टीम बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में रात्रि विश्राम करेगी मुख्यमंत्री ने सभी जिलों को अलर्ट मोड में रहने का आदेश दिया है.
प्रयागराज में कैबिनेट मंत्री मंत्री नंद गोपाल नंदी रहेंगे. इसके अलावा बांदा और मिर्जापुर की जिम्मेदारी भी नंद गोपाल नंदी को दी गई है. जालौन में कैबिनेट मंत्री स्वतंत्र देव सिंह और संजय गंगवार रहेंगे. औरैया में भी स्वतंत्र देव सिंह और उनके साथ प्रतिभा शुक्ला रहेंगी. हमीरपुर में रामकेश निषाद रहेंगे. पर्यटन मंत्री जयवीर सिंह आगरा में रहेंगे. वित्त मंत्री सुरेश खन्ना वाराणसी में रहेंगे. कानपुर देहात में संजय निषाद रहेंगे. इटावा में धर्मवीर प्रजापति रहेंगे. फतेहपुर में अजीत पाल और बलिया में दया शंकर दयालु रहेंगे..
मुख्यमंत्री ने मंत्रियों और अधिकारियों को बाढ़ के समय राहत और बचाव के लिए स्थानीय प्रशासन से बेहतर समन्वय और तत्काल प्रभावी कार्रवाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने प्रभावित गांवों में खाने-पीने का सामान, दवाएं पशुओं के लिए चारा और अन्य आवश्यक वस्तुओं को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं. 
साथ ही राहत कार्य के लिए बाढ़ चौकियों, नावों और मोटर बोट को तैयार रखने को कहा है. 

बाढ़ से प्रदेश का कुल 4015.99 हेक्टेयर क्षेत्रफल प्रभावित है. राहत कार्य में 493 नावें और 4596 प्रीपोजिशंड नावें लगी हैं. अब तक 76,632 लंच पैकेट और 6,536 खाद्यान्न पैकेट वितरित किए जा चुके हैं. 905 बाढ़ शरणालयों में 11,248 लोग रह रहे हैं. 1193 बाढ़ चौकियां और 757 मेडिकल टीमें सक्रिय हैं. 1.29 लाख क्लोरीन टैबलेट और 37,089 ओआरएस पैकेट वितरित किए गए हैं.

प्रयागराज में 19 नाव और मोटर बोट लगाई गई हैं जबकि 88 बाढ़ चौकी स्थापित की गई हैं. वहां एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की एक टीम के साथ ही पीएसी की दो टीमें तैनात की गई हैं. अब तक 1375 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है.
जालौन में 62 नाव और 31 मोटर बोट लगाई गई हैं. करीब 27 बाढ़ चौकी बनाई गई हैं. औरैया में 26 नाव और मोटर बोट लगाई गई हैं. 9 बाढ़ चौकी बनाई गई हैं. हमीरपुर में 8 नाव और मोटर बोट लगी हैं. 17 बाढ़ चौकी बनी हैं. वहां 1330 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है. आगरा में 2 नाव और मोटर बोट लगी हैं व 47 बाढ़ चौकी स्थापित की गई हैं. मिर्जापुर में 7 नाव और मोटर बोट लगी हैं. वाराणसी में 23 नाव और कानपुर देहात में 30 नाव लगाई गई हैं. बलिया में 10 नाव और बांदा में 43 नाव लगाई गई हैं. बलिया में 5 और बांदा में 47 बाढ़ चौकियां बनाई गई हैं.

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